नयी दिल्ली रेलवे स्टेशन पर शनिवार की रात को रेलयात्रियों की भीड़ उमड़ी हुई थी. पूरा रेलवे स्टेशन यात्रियों से पैक था. इनमें प्रयागराज जाने वाले श्रद्धालुओं की संख्या भी काफी अधिक थी. महाकुंभ की दो ट्रेनें रद्द हो गयी. जिसके बाद अन्य ट्रेनों पर लोड बढ़ने की संभावना तेज हो गयी. भीड़ बेकाबू हो गयी और भगदड़ मच गयी. इस हादसे में एक दर्जन से अधिक लोगों की मौत हो गयी जबकि कई लोग जख्मी हुए हैं. मृतकों में 10 से अधिक महिलाएं हैं जबकि तीन बच्चों की भी मौत की पुष्टि हुई है.
नयी दिल्ली रेलवे स्टेशन पर भगदड़
भगदड़ की यह घटना नयी दिल्ली रेलवे स्टेशन के प्लेटफॉर्म नंबर 14 और 15 पर हुई है. प्रयागराज जाने वाली दो ट्रेनें अचानक रद्द कर दी गयी. जब इसकी घोषणा अचानक हुई तो स्टेशन पर यात्रियों का लोड बढ़ गया. ट्रेन रद्द होने की सूचना मिलने पर यात्री घबरा गए और अफरा-तफरी मच गयी. इसकी वजह से भगदड़ की स्थिति बनी और कई लोग नीचे गिरे. भगदड़ से जुड़ी कुछ वीडियो सामने आए हैं.
ALSO READ: Video: नयी दिल्ली रेलवे स्टेशन पर भगदड़ में बिहारियों का दर्द सुनिए, किसी ने मां तो किसी ने बेटी-पत्नी को खोया
एक दूसरे के ऊपर गिरने लगे यात्री
प्रत्यक्षदर्शी बताते हैं कि भगदड़ का हालत यह था कि लोग एक दूसरे के ऊपर गिरने लगे. इसमें कई लोगों की मौत हो गयी. अपनों को गंवाने वाले यात्रियों ने बताया कि वो अपने परिवार के लोगों के साथ आए थे लेकिन यह सोचा भी नहीं था कि हादसे का शिकार बनेंगे और अपनों को खो देंगे.
एंबुलेंस और दमकल की गाड़ियां बुलायी गयी
भगदड़ के बाद दमकल की चार गाड़ियां मौके पर भेजी गयी. अतिरिक्त सुरक्षाबलों को तैनात किया है. आनन-फानन में एंबुलेंस गाड़ियां स्टेशन पर बुलायी गयीं. सभी जख्मी यात्रियों को फौरन अस्पताल भेजा गया.
कैसे हुआ हादसा
रेलवे ने आधिकारिक बयान में बताया कि जब प्रयागराज एक्सप्रेस प्लेटफॉर्म संख्या 14 पर खड़ी थी तो वहां कई लोग मौजूद थे. स्वतंत्रता सेनानी और भुवनेश्वर राजधानी देर से चल रही थी. इन ट्रेनों के यात्री भी प्लेटफॉर्म 12,13 और 14 पर मौजूद थे.
कहां मची भगदड़?
रेलवे के द्वारा हर घंटे 1500 जनरल टिकट बेचे जा रहे थे जिसके कारण स्टेशन पर भीड़ बढ़ी और बेकाबू हो गयी. प्लेटफॉर्म नंबर 14 और 16 के पास के एस्केलेटर के पास भगदड़ मची.
ट्रेनों के अंदर भी यात्रियों की भीड़ बेकाबू
दिल्ली रेलवे स्टेशन पर यात्रियों का हुजूम इस कदर था कि ट्रेनों के अंदर भी यात्रियों की भीड़ बेकाबू हो गयी. हालत ऐसे बन गए कि ट्रेन के अंदर से यात्रियों को टांग-टांगकर निकाला जा रहा था.