संवाददाता, संवाददाताफार्मेसी काउंसिल के रजिस्ट्रार पर कार्रवाई को लेकर डिप्लोमा फार्मासिस्ट ऑर्गेनाइजेशन द्वारा लिखे गये पत्र पर प्रधानमंत्री कार्यालय ने मामले पर संज्ञान लिया है. पीएमओ ने इस संबंध में केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय को जरूरी कार्रवाई कर सूचित करने का निर्देश दिया है. वहीं, संघ के अध्यक्ष अरविंद कुमार ने पीएमओ को लिखे पत्र में कहा था कि फार्मेसी एक्ट 1948 के तहत भारत सरकार द्वारा स्थापित फार्मेसी काउंसिल आफ इंडिया (पीसीआइ) एक वैधानिक संस्था है. इसका मुख्य उद्देश्य फार्मेसी शिक्षा में सुधार, संस्थानों की गुणवत्ता जांच कर उन्हें मान्यता देना, फार्मासिस्टों का निबंधन करवाना है. इसके विपरीत पीसीआइ के रजिस्ट्रार ने अस्पतालों में 2473 फार्मासिस्ट पदों पर नियमित नियुक्ति का विज्ञापन निकलने के बाद पत्र जारी कर अर्हता में बदलाव कर बी फार्म और एम फार्म को शामिल कराने का प्रयास किया था.
16 मार्च को रजिस्ट्रार को लिखा था पत्र
संघ के अध्यक्ष अरविंद कुमार ने बताया कि इसमें पटना हाइकोर्ट के खंडपीठ व सुप्रीम कोर्ट के आदेश के साथ-साथ नियोक्ता स्वास्थ्य विभाग बिहार की अनदेखी करते हुए न्यूनतम शैक्षणिक अर्हता में बदलाव करने के संदर्भ में पत्र लिख कर पेच फंसाने की कोशिश की है. इसके बाद डिप्लोमा फार्मासिस्ट आर्गनाइजेशन छात्र संघ ने माननीय प्रधानमंत्री महोदय को 16 मार्च को पत्र लिख कर रजिस्ट्रार से पत्र वापस लेने और उन पर अनुशासन कार्रवाई की मांग की थी, जिस पर संज्ञान लेते हुए प्रधानमंत्री कार्यालय ने सचिव स्वास्थ्य व परिवार कल्याण मंत्रालय को आवश्यक कार्रवाई कर याचिकाकर्ता व कार्यालय को सूचित करने को कहा है.
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