घातक डंपर को रोक कर जताया प्रतिवाद रानीगंज. नीमचा कदमडांगा इलाके में एक दिल दहला देनेवाली घटना हुई, जिससे पूरे इलाके में शोक व गुस्सा भर गया है. 55 वर्षीय षष्ठी बाउरी, जो इसी इलाके के निवासी थे, जर्जर रास्ते को पार करते समय तेज रफ्तार डंपर की चपेट में आ गये और मौके पर ही उनकी दर्दनाक मौत हो गयी. घटना के बाद आक्रोशित लोगों ने शिकायत की कि यह महज एक हादसा नहीं, बल्कि प्रशासन की घोर लापरवाही का जीता-जागता उदाहरण है, जिसका खामियाजा एक व्यक्ति को अपनी जान देकर चुकाना पड़ा.
पुलिस की भारी तैनाती और फूटा जनाक्रोश
जैसे ही इस दर्दनाक घटना की सूचना पुलिस तक पहुंची, रानीगंज थाना, नीमचा चौकी, पंजाबी मोड़ चौकी के अलावा जामुड़िया थाना अंतर्गत श्रीपुर चौकी से भी बड़ी संख्या में पुलिस बल मौके पर पहुंच गया. पुलिस ने स्थिति को नियंत्रित करने की कोशिश की, लेकिन लोगों का गुस्सा शांत होने का नाम नहीं ले रहा था.
स्थानीय लोगों का दर्द साफ झलकता है. उनका कहना है कि इस रास्ते की हालत इतनी खस्ता है कि आए दिन यहां छोटे-बड़े हादसे होते रहते हैं. यह कोई नई बात नहीं है; उन्होंने बताया कि प्रशासन के विभिन्न विभागों से उन्होंने लगातार कई बार इस रास्ते की मरम्मत की गुहार लगाई है, लेकिन हर बार उनकी आवाज़ अनसुनी कर दी गई. इस अनदेखी का परिणाम आज हम सबके सामने है – एक बेकसूर इंसान की मौत.पता चला है कि 55 वर्षीय षष्ठी बाउरी रानीगंज के गिरजापाड़ा, बादामबादाम से रानीसाएर तक जाने वाले बाईपास रास्ते को कदमडांगा से पार कर रहे थे. यह वही रास्ता है जिसके बारे में लोग लगातार शिकायत कर रहे हैं. उसी समय अचानक एक 16 चक्का डंपर ने उन्हें अपनी चपेट में ले लिया.यह टक्कर इतनी भीषण थी कि षष्ठी बाउरी को संभलने का मौका भी नहीं मिला.
हादसे के तुरंत बाद, स्थानीय लोगों ने हिम्मत दिखाते हुए उस डंपर का पीछा किया और उसे पकड़ने में सफल रहे. हालांकि, इस बीच डंपर का चालक और खलासी मौका पाकर फरार हो गए.पुलिस अब उनकी तलाश में जुटी हुई है.इस घटना के पश्चात स्थानीय लोगो ने मृतक परिवार को क्षतिपूरण की मांग करते हुए लग़भग 4 घण्टो तक रास्ता अवरोध किया,अंतत पुलिस के समझाने तथा मुआवजा दिलाने के आश्वासन के पश्चात यह प्रदर्शन समाप्त हुई.आक्रोशित लोगों ने लगायी न्याय की गुहार
षष्ठी बाउरी(55) की असामयिक मृत्यु ने स्थानीय लोगों के सब्र का बांध तोड़ दिया. घटना के तुरंत बाद, रानीगंज के रानीसायर इलाके में सैकड़ों की संख्या में लोग सड़कों पर उतर आए और जोरदार विरोध प्रदर्शन किया. चारों ओर तनाव का माहौल है, और हर चेहरा गुस्से और निराशा से भरा है. उनकी मुख्य मांगें स्पष्ट हैं: पहला, इस जानलेवा रास्ते की तत्काल मरम्मत की जाए, ताकि भविष्य में कोई और षष्ठी बावरी इसका शिकार न बने. और दूसरा, मृतक के परिवार को उचित मुआवजा दिया जाए, ताकि कम से कम उन्हें इस असहनीय दुख में थोड़ी राहत मिल सके.** यह सिर्फ मुआवजे की बात नहीं है, यह उस परिवार के भविष्य और उनके हक की बात है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है