संवाददाता, कोलकाता
बीरभूम जिले के बागटुई में हुए सामूहिक हत्याकांड की जांच कर रहे केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआइ) ने मामले की सुनवाई जिला अदालत से कलकत्ता हाइकोर्ट या किसी अन्य अदालत में स्थानांतरित करने की अपील की है. बुधवार को हाइकोर्ट में याचिका दायर कर सीबीआइ के अधिवक्ता ने अदालत में बताया कि जांच एजेंसी के अधिकारियों को बीरभूम जिले की अदालत में मामले की सुनवाई के दौरान कई प्रकार की दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. इसलिए सीबीआइ ने मामले को कलकत्ता उच्च न्यायालय या किसी अन्य अदालत में स्थानांतरित करने के लिए आवेदन किया है. न्यायमूर्ति जय सेनगुप्ता की अदालत में मामला दायर किया गया है. सीबीआइ ने अदालत से बीरभूम के बाहर किसी अदालत में मुकदमा चलाने का आदेश देने के लिए आवेदन किया है. सीबीआइ ने अपनी याचिका में यह भी उल्लेख किया गया है कि इस मामले के गवाह स्वतंत्र रूप से गवाही नहीं दे पा रहे हैं. हाइकोर्ट में मामले की सुनवाई चार अगस्त को होने की संभावना है.इस मामले में सीबीआइ ने तत्कालीन रामपुरहाट 1 ब्लॉक तृणमूल अध्यक्ष अनारुल हुसैन समेत 23 लोगों के खिलाफ पहला आरोपपत्र दायर किया था और फिलहाल बीरभूम जिला अदालत में मामले ट्रायल चल रहा है. सीबीआइ ने बीरभूम जिला अदालत में चल रहे मामले को कलकत्ता हाइकोर्ट या किसी अन्य जिले में स्थानांतरित करने की मांग की है.
10 लोगों को जिंदा जलाकर मार डाला गया था
21 मार्च, 2022 की रात को रामपुरहाट थाना अंतर्गत बागटुई चौराहे पर बम से हमला कर इलाके के एक प्रमुख तृणमूल नेता और स्थानीय बरशाल ग्राम पंचायत के तत्कालीन उप प्रधान भादू शेख की हत्या कर दी गयी थी. आरोप है कि घटना के बाद भादू शेख के अनुयायियों ने उस रात बागटुई गांव में कई घरों में आग लगा दी थी, जिसमें 10 लोगों की मौत हो गयी थी. हाइकोर्ट के आदेश पर बागटुई सामूहिक हत्याकांड की जांच की जिम्मेदारी सीबीआइ को सौंपी गयी थी.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है