औरंगाबाद/मदनपुर. पिछले कई वर्षों से फरार चल रहे विभिन्न कांडों का वांछित नक्सली पुलिस के हत्थे चढ़ गया. यह कामयाबी औरंगाबाद पुलिस एवं एसटीएफ (अभियान दल) द्वारा संयुक्त रूप से चलाये गये स्पेशल ऑपरेशन में मिली है. शुक्रवार को सदर एसडीपीओ टू अमित कुमार ने प्रेसवार्ता कर इसका खुलासा किया है. गिरफ्तार नक्सली वीरेंद्र सिंह भोक्ता गया जिले के बांकेबाजार थाना अंतर्गत मोहरांव गांव का रहने वाला है. वह वर्ष 2017 से ही नक्सली घटनाओं में शामिल रहा हैं. एसडीपीओ टू ने बताया कि पुलिस को इनपुट मिली कि उक्त नक्सली क्षेत्र में घुमते देखा गया है. इसके बाद पुलिस अधीक्षक अंबरीश राहुल के निर्देशन में औरंगाबाद पुलिस एवं विशेष कार्य बल के साथ संयुक्त रूप से एक टीम का गठन किया गया. गठित टीम द्वारा सूचना के आधार पर छापेमारी करते हुए इलाके की घेराबंदी की गयी और फिर फरार चल रहे नक्सली को धर दबोचा. मदनपुर थाना कांड संख्या 303/21, धारा-18, 20, 38, 39 विधि विरुद्ध क्रियाकलाप में आरोपित बना नक्सली वीरेंद्र सिंह भोक्ता लगातार फरार चल रहा था. उन्होंने बताया कि उसकी गिरफ्तारी से नक्सलियों का मनोबल गिरा है. नक्सली गतिविधि पर अंकुश लगाये जाने के लिए लगातार छापेमारी की जा रही है. उन्होंने यह भी बताया कि गिरफ्तार नक्सली के विरुद्ध आपराधिक इतिहास भी रहा है. उसके खिलाफ गया जिले के आमस थाना में भी प्राथमिकी दर्ज की गयी थी. औरंगाबाद के ढिबरा और मदनपुर में भी मामले दर्ज है. उसकी गिरफ्तारी के लिए वर्षों से पुलिस छापेमारी कर रही थी. अंतत: उसे दबोच लिया गया. ज्ञात हो कि दो दिन पहले भी एक नक्सली गिरफ्तार हुआ था. यह भी ज्ञात हो कि हाल के वर्षों में एक तरह से नक्सली गतिविधियों में भारी कमी आयी है. बड़े–बड़े नक्सली जेल के शिकंजे में कसे जा चुके है. यह भी ज्ञात हो कि मदनपुर के नक्सल प्रभावित इलाके में लगातार पुलिस ने कार्रवाई की है. विस्फोटकों का जखीरा भी ध्वस्त कर दिया गया.
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