Bihar Bhumi: बिहार में सरकारी जमीनों की जमाबंदी की जांच हो रही है. इसमें गड़बड़ी पाये जाने पर दोषी अधिकारियों और कर्मियों पर विभागीय कार्रवाई होगी. साथ ही सेवानिवृत्त पदाधिकारियों और कर्मियों के विरुद्ध एफआइआर दर्ज करवा कर संबंधित पदाधिकारी इसकी सूचना राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग को देंगे.
यह निर्देश विभाग की तरफ से सभी एडीएम, डीसीएलआर और अंचल अधिकारियों को दिया गया है. इसका मकसद सरकारी जमीनों की सही जमाबंदी त्वरित गति से तैयार करना है. इससे सरकारी परियोजनाओं का निर्माण कार्य तेजी से हो सकेगा. साथ ही राज्य का तेजी से विकास हो सकेगा.
कर्मियों को दिया गया निर्देश
सूत्रों के अनुसार राज्य में सरकारी जमीन के जमाबंदी की जांच की जा रही है. इसकी समीक्षा में पिछले दिनों यह जानकारी मिली थी कि करीब आधा दर्जन अंचलों में अब तक सरकारी जमीन की जांच शुरू ही नहीं हुई है. इसके अलावा अधिकतर अंचलों में जांच की गति बहुत धीमी है.
इस मामले में विभाग के अपर मुख्य सचिव ने सभी विभागीय पदाधिकारियों से कहा है कि सरकारी जमीन के जमाबंदी की जांच का निबटारा सिर्फ अभिलेखों और खतियान के आधार पर जांच से ही होता है.
ऐसे में इस मामले में देरी उचित नहीं है. साथ ही साथ उन्होंने इसे त्वरित गति से पूरा करने का विभागीय अधिकारियों व कर्मियों को निर्देश दिया है. उन्होंने कहा है कि जांच पूरी होने के बाद इसमें अगले चरण का काम शुरू किया जा सकेगा.
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सरकारी जमीन का दाखिल-खारिज
इसके साथ ही सरकारी जमीन के दाखिल -खारिज की गति भी धीमी होने पर इसे जल्द से जल्द पूरा करने का निर्देश राजस्व कर्मचारियों, राजस्व अधिकारियों और अंचल अधिकारियों को दिया गया है.
समीक्षा में यह पाया गया है कि करीब आधा दर्जन से अधिक अंचल ऐसे हैं जहां अभी तक सरकारी जमीन के दाखिल-खारिज की शुरुआत भी नहीं हुई है. ऐसे में संबंधित अंचलों को अभियान चलाकर सरकारी जमीन का दाखिल-खारिज पूरा करने का निर्देश दिया गया है.
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