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स्वास्थ्य मंत्री की पुस्तक जन स्वास्थ्य का ‘मंगल काल’ है.. पर बिहार में बढ़ा सियासी पारा

बिहार में जब 2017 में एनडीए की सरकार बनी थी तब से कुछ अंतराल को छोड़ दिया जाए तो अभी तक स्वास्थ्य मंत्री हैं. 2017 से 2020 तक. 2020 विधानसभा चुनाव के बाद अगस्त 2022 तक स्वास्थ्य मंत्री रहे. अभी भी मंगल पांडेय ही स्वास्थ्य मंत्री हैं.

बिहार के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय की पुस्तक पर बिहार में सियासी पारा बढ़ गया है. हेल्थ मिनिस्टर की किताब विमोचन से पहले पटना के चौक चौराहे पर बैन बिहार के स्वास्थ्य क्षेत्र में ‘मंगल काल’ पर एक पुस्तक लिखी है. इस पुस्तक के विमोचन से पहले राजधानी में बड़े-बड़े बैनर-पोस्टर लगाए गए हैं.इसको लेकर बिहार में राजनीति का पारा बढ़ गया है.

किताब के शीर्षक पर आरजेडी ने कसा तंज

आरजेडी प्रवक्ता चितरंजन गगन ने हेल्थ मिनिस्टर की किताब मंगल काल पर तंज कसते हुए कहा कि मंगल पांडेय जी ने अपनी किताब का शीर्षक स्वास्थ्य विभाग का अमंगल काल रखना चाह रहे थे. गलती से उन्होंने इसका शीर्षक मंगल काल रखा है. गगण ने कहा कि किताब लिखने से पहले उनको कैग की रिपोर्ट पढ़ लेनी चाहिए थी. मंगल पांडेय पर तंज कसते हुए आरजेडी प्रवक्ता ने कहा कि जो विभाग सरकार की ओर आवंटित राशि नहीं खर्च कर पा रही हो. खाली पदों को नहीं भर पा रही है और अस्पतालों में इलाज के लिए जरुरी उपकरण नहीं व्यवस्ता कर पा रही हो. उस विभाग के मंत्री स्वास्थ्य क्षेत्र में मंगल काल पर पुस्तक लिखते हैं. इससे अमंगलकारी कार्य और क्या हो सकता है.

कांग्रेस ने भी कसा तंज

कांग्रेस प्रवक्ता ज्ञान रंजन ने कहा कि हेल्थ मिनिस्टर को अपनी किताब में बिहार विधानसभा में 28 नवंबर 2024 को पेश कैग की रिपोर्ट की भी चर्चा करनी चाहिए. उन्होंने कहा कि कैग रिपोर्ट से जिसमें बिहार की स्वास्थ्य व्यवस्था की पोल खुल गई थी. ज्ञानरंजन ने कहा कि सीएजी की रिपोर्ट से स्पष्ट है कि बिहार के स्वास्थ्य क्षेत्र में मंगल काल नहीं बल्कि अमंगल काल चल रहा है. वित्तीय वर्ष 2016-17 से 2021-22 के बीच सरकार द्वारा आवंटित 69790.83 करोड़ रू के बजट में सिर्फ 69% राशि ही खर्च की जा सकी थी. जबकि 21743.004 करोड़ रुपये बिना उपयोग किए रह गए. मंत्री को अपनी किताब में इसकी चर्चा करते हुए बताना चाहिए कि इस प्रशासनिक लापरवाही के लिए कौन जिम्मेवार है.

कांग्रेस प्रवक्ता ज्ञान रंजन

पुस्तक का 17 दिसंबर को होगा विमोचन

स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय की लिखी पुस्तक स्वास्थ्य क्षेत्र में मंगल काल का 17 दिसंबर को विमोचन किया जायेगा. बिहार विधानसभा विस्तारित भवन के सभागार में कार्यक्रम आयोजित की गई है. स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय की इस पुस्तक का विमोचन सूबे के राज्यपाल राजेन्द्र विश्वनाथ अर्लेकर करेंगे. इसकी तैयारी चल रही है. पुस्तक विमोचन से पहले पटना के चौक चौराहों पर इस किताब को लेकर बैनर-पोस्टर लगाए गए हैं. जिसमें बताया गया है कि 17 दिसंबर को जन स्वास्थ्य का ‘मंगल काल’ पुस्तक का विमोचन कार्यक्रम है.

जानकार बताते हैं कि इस पुस्तक में मंगल पांडेय की ओर से अपने कार्यकाल में स्वास्थ्य क्षेत्र में किए गए कार्य का वर्णन है. मंगल पांडेय 2017 में जब एनडीए की सरकार बनी थी, तब स्वास्थ्य मंत्री बने थे, 2017 से 2020 तक. 2020 विधानसभा चुनाव के बाद एनडीए की सरकार बनी. तब भी मंगल पांडेय ही स्वास्थ्य मंत्री बने. अगस्त 2022 तक ये स्वास्थ्य मंत्री रहे. जनवरी 2024 में फिर से एनडीए की सरकार बनी.मंगल पांडेय को स्वास्थ्य मंत्री बनाया गया.तब से लेकर अभी तक वे ही इस विभाग के मंत्री हैं.

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RajeshKumar Ojha
RajeshKumar Ojha
Senior Journalist with more than 20 years of experience in reporting for Print & Digital.

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