Chandan Mishra Murder: चंदन मिश्रा हत्याकांड में पश्चिम बंगाल के पुरुलिया जेल में बंद ओमकारनाथ सिंह उर्फ शेरू का नाम सामने आ चुका है. इसने ही जेल से तौसीफ रजा उर्फ बादशाह को चंदन मिश्रा को खत्म करने के लिए 10 लाख रुपये की सुपारी दी. इसके बाद तौसीफ रजा ने अपने साथियों के साथ मिल कर चंदन मिश्रा की पारस अस्पताल में गोली मार कर हत्या कर दी. इस मामले में पांच लोगों को पुलिस ने पश्चिम बंगाल में गिरफ्तार कर लिया है, ये सभी शेरू गैंग से जुड़े हैं. इन लोगों ने तौसीफ रजा को हत्या करने के साथ ही भागने, छिपाने में मदद की थी.
हर रोज पारस अस्पताल की करते थे रेकी
पूरा प्लान पहले से सेट था. पारस अस्पताल के समीप एक फ्लैट में समनपुरा में रहने वाले एक बदमाश ने इन लोगों को शरण दी थी. इसके बाद वे लोग वहां से प्रतिदिन पारस अस्पताल के आसपास रेकी करने के लिए जाते थे. तौसीफ का पहले से पारस अस्पताल में कुछ लोगों से परिचय था. वहां वे दोनों आते-जाते थे. जिसके कारण हॉस्पिटल के चप्पे-चप्पे से वाकिफ थे.
एक लड़की की वजह से पड़ी खटास
शेरू और चंदन की दोस्ती प्रगाढ़ थी और कई हत्या की घटना को एक साथ अंजाम दिया. लेकिन अचानक ही दोस्ती में एक लड़की के कारण दरार आ गयी. शेरू का एक लड़की से प्रेम प्रसंग हो गया, जिसका चंदन मिश्रा विरोध करता था. इससे शेरू और चंदन के दोस्ती के संबंधों में खटास पड़ गयी. इसके बाद दोनों की राहें अलग हो गयी. चंदन ने उसके साथ घटना को अंजाम देना छोड़ दिया और शेरू ने अपना अलग गैंग बना लिया. इसके बाद शेरू ने पश्चिम बंगाल में सोना लूटकांड की घटना को भी अंजाम दिया.
शेरू को हत्या का था शक
हालांकि, चंदन मिश्रा और शेरू दोनों ही पकड़े गये. लेकिन शेरू को शक था कि चंदन मिश्रा उसकी हत्या करवा सकता है. इसलिए उसने ही पहले चंदन मिश्रा की हत्या करवा दी. शेरू का एक लड़की को अबीर लगाते हुए वीडियो भी वायरल हुआ है, जिसकी प्रभात खबर पुष्टि नहीं करता है.
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