# सीएम नीतीश के इस फैसले से 2.56 लाख लोगों को सीधा फायदा! 10,24,000 लोगों के जीवन में आएगा सुधार
# नीतीश सरकार का बड़ा फैसला: 2.56 लाख कर्मियों का मानदेय दोगुना, 10 लाख से ज्यादा लोगों के जीवन में आएगा बदलाव!# सम्मान का संकल्प : श्रम का मिला सम्मान, 10 लाख लोगों की जिंदगी में आएगा बदलाव मिथिलेश, पटना
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व वाली बिहार सरकार ने शिक्षा और सेवा क्षेत्र से जुड़े लाखों कर्मचारियों के मानदेय में बड़ी वृद्धि करते हुए सामाजिक न्याय और आर्थिक सशक्तिकरण की दिशा में एक और महत्वपूर्ण कदम उठाया है. राज्य सरकार ने रसोइयों, शारीरिक शिक्षा एवं स्वास्थ्य अनुदेशकों और नाइट गार्ड्स के मासिक मानदेय को दोगुना करने का फैसला लिया है, जिससे करीब 2.56 लाख से अधिक परिवारों को सीधा लाभ मिलेगा.10.24 लाख हजार लोगों के जीवन स्तर पर होगा सुधार
राज्य सरकार की ओर से रसोइयों, नाइट गार्ड और शारीरिक शिक्षा एवं स्वास्थ्य अनुदेशकों का मासिक मानदेय दोगुना करने का जो फैसला लिया है, उसका सीधा असर एक पूरे परिवार पर पड़ेगा. जहां इस फैसले से करीब 2.56 लाख लोगों को लाभ मिलेगा. वहीं, एक अनुमान के मुताबिक 10.24 लाख लोगों के जीवन स्तर में सुधार आयेगा.रसोइयों को मिला दोगुना मानदेय
बिहार में 70 हजार से अधिक सरकारी विद्यालयों में मध्याह्न भोजन योजना के तहत 2,38,000 रसोइया और सहायक रसोइया हैं. अब तक बेहद कम मानदेय 1650 रुपये पर काम कर रहे थे. अब इनका वेतन 3300 कर दिया गया है. यह न सिर्फ उनके जीवन स्तर को सुधारेगा, बल्कि उन्हें आर्थिक सम्मान भी देगा.
शारीरिक शिक्षक, अनुदेशकों का बढ़ा आत्मबल
वहीं, बिहार के राजकीय प्रारंभिक विद्यालयों में कार्यरत 8,386 शारीरिक शिक्षा एवं स्वास्थ्य अनुदेशकों के मासिक मानदेय को भी आठ हजार से बढ़ाकर 16 हजार रुपये कर दिया गया है. इससे न सिर्फ इन अनुदेशकों को आर्थिक राहत मिलेगी, बल्कि विद्यार्थियों के शारीरिक विकास और स्वास्थ्य शिक्षा में भी सकारात्मक बदलाव भी आयेगा.रात्रि गार्ड्स को भी मिला प्रोत्साह
राज्य भर में कार्यरत 9,360 नाइट गार्ड्स भी कार्यरत हैं। जो स्कूलों की सुरक्षा की जिम्मेदारी संभालते हैं. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने इनके मानदेय में भी दोगुनी वृद्धि की है.मानदेय में वृद्धि के इस निर्णय से उनकी सेवा भावना को बल मिलेगा और उनकी सामाजिक स्थिति में सुधार आयेगा.सम्मान और समर्पण को मिले मूल्य : सीएम
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने स्पष्ट किया है कि “सरकारी योजनाओं के सफल क्रियान्वयन में जमीनी स्तर पर कार्यरत कर्मियों की भूमिका सबसे अहम होती है. उनके श्रम का उचित मूल्य देना हमारी जिम्मेदारी है. मानदेय में की गयीयह वृद्धि उनके योगदान का सम्मान है.विकास के साथ सामाजिक सरोकार
यह फैसला न सिर्फ कर्मचारियों के हित में है, बल्कि यह नीतीश सरकार की ‘विकास के साथ सामाजिक न्याय’ की नीति को भी मजबूती देता है. यह कदम राज्य में गरीबी उन्मूलन, रोजगार सुरक्षा और सामाजिक सशक्तिकरण की दिशा में एक बड़ा संकेत माना जा रहा है.आंकड़ों मेंकुल लाभार्थी (तीनों श्रेणियों को मिलाकर)
2.56 लाख लोग (रसोइया, अनुदेशक और नाइट गार्ड्स)परिवार के औसतन 4 सदस्यों के आधार पर प्रभावित लोगों की संख्या:
10,24,000 लोगकुल कार्यरत रसोइया और सहायक रसोइया:
2,38,000कुल शारीरिक शिक्षा एवं स्वास्थ्य अनुदेशक पदों की संख्या
8,386कुल कार्यरत नाइट गार्ड्स:
9,360सीएम का फोकस:
सामाजिक न्यायआर्थिक सशक्तिकरण
विकास के साथ सामाजिक सरोकारजमीनी स्तर के कर्मियों के श्रम का सम्मान
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